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लीवर को स्ट्रांग बनाने के लिए फलों का सेवन

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आजकल के खराब डाइट और लाइफस्टाइल लगातार लीवर को कमजोर बना रही है। लीवर कमजोर होने पर शरीर को पोषक तत्व नहीं लग पते है।
लीवर खराब होने के प्रभाव :
1 .शरीर में प्रोटीन का संश्लेषण नहीं होता है, जिससे कि कमजोर लीवर वाले लोगों में प्रोटीन की कमी देखी जा सकती है।
2 . शरीर डिटॉक्सीफाई नहीं हो पाता है जिस कारण मेटाबोलिज्म खराब हो जाता है।

लीवर खराब होने के लक्षण :
भूख ना लगना, मतली महसूस करना, वजन का कम होना और कमजोरी।

लीवर को मजबूत करने के उपाय:
*फलों में पाए जाने वाले खास एंजाइम्स और पोषक तत्व लीवर को डिटॉक्स करने में और इसे स्वस्थ बनाने में मदद कर सकते हैं।
* ज्यादा से ज्यादा पानी वाली चीजों को खाएं और इस डिटॉक्सीफाई करते रहें।

फल ,जो लीवर को मजबूत रखते है :
1. ग्रेपफ्रूट (चकोतरा) :
ग्रेपफ्रूट में खास एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जैसे कि नारिंगिनिन और नारिंगिन ।जो लीवर को हेल्दी रखने में मदद करते हैं और इसके सूजन को कम करके और कोशिकाओं की रक्षा करते हैं। ये एंटीऑक्सीडेंट लिवर फाइब्रोसिस को बचाते हैं। नारिंगिनिन लिवर में फैट की मात्रा को कम कर देता है और फैट जलाने के लिए आवश्यक एंजाइमों को बढ़ाता है, जिससे फैटी लिवर की समस्या नहीं होती।

2. अंगूर :
अंगूर लिवर को अंदर से साफ करने में मदद करता है। इसमें विटामिन सी और कुछ खास एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो कि लीवर सेल्स को हेल्दी रखते हैं और सूजन को रोकते हैं।

3. कांटेदार नाशपाती:
कांटेदार नाशपाती का जूस कई रोगों से बचाने में आपकी मदद कर सकता है। कांटेदार नाशपाती में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करते हैं और इसके कारण लीवर में होने वाली क्षति से बचाते हैं। इसका अर्क लिवर एंजाइम्स को तेज करता है और लीवर के काज को तेज करके इसको स्वस्थ बनाता है।

4. केला:
केला फैटी लीवर की समस्या को कम करने में मदद करता है। केले में अनसेचुरेड फैट। मोनोअनसैचुरेटेड फैट और ओमेगा-3 फैट भी होता है। ये फैट सेलुलर स्तर पर इंसुलिन को स्थानांतरित करने में मदद करते हैं।

5. ब्लूबेरी :
ब्लूबेरी का अर्क लीवर एंजाइम को बढ़ाने में मदद करता है और लीवर को स्ट्रांग करता है। ब्लूबेरी कैंसर से बचाव करती है।
6. पपीता :
सुबह खाली पेट पपीता खाने से पेट साफ होता है, कब्ज की समस्या नहीं होती और लीवर भी स्वस्थ रहता है। पपीता में उपस्थित एंटीइंफ्लेमेटरी गुण लिवर सेल्स में सूजन को रोकते हैं। पपीते के पत्ते का रस इंसुलिन संवेदनशीलता में सुधार करता है जो कि ब्लड शुगर के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। एंटीऑक्सीडेंट प्रकृति गुर्दे की क्षति, फैटी लीवर जैसी डायबिटीज के कारण होने वाली जटिलताओं को कम करने में मदद करती है और ऑक्सीडेटिव तनाव को काफी कम करती है। डायबिटीज के मरीजों में पपीता लीवर मजबूत करता है।

7. अंजीर :
अंजीर में पाए जाने वाले डाइटरी फाइबर्स लीवर डैमेज को रोकते हैं। बीटा कैरोटीन और विटामिन फ्री रेडिकल्स के कारण होने वाले नुकसानों से बचाते हैं। अंजीर खाने से इसके हाई एंटीऑक्सीडेंट तत्व फैटी लिवर की समस्या से बचाव में मदद करते हैं।

8. तरबूज :
तरबूज शरीर में यूरिन के फ्लो को सही करता है। ये लीवर डिटॉक्सीफाई करने में भी मददगार है। ये लीवर के काम काज को तेज करता है और अमोनिया प्रोसेस करके इसे शरीर से बाहर निकालता है।

9. क्रैनबेरी
क्रैनबेरी में उपस्थित एंटीऑक्सिडेंट जिसे प्रोएथोसायनिडिन कहा जाता है, जो शरीर से मुक्त कणों को फ्लश करने की उनकी क्षमता को बढ़ाता है। यही लीवर के काम काज को तेज करता है और लीवर साफ करके इसे स्वस्थ बनाता है।

10. सेब :
सेब लीवर डिटॉक्स करने में मददगार है। सेब में मौजूद पॉलीफेनोल्स ,लीवर के सीरम और लिपिड लेवल को कंट्रोल में रखते हैं। सेब में पेक्टिन और मैलिक एसिड होता है जो विषाक्त पदार्थों और कार्सिनोजेन्स को हटाने में मदद करता है। सेब में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो आपको फैटी लीवर से बचाते हैं।

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